सेक्शुएलिटी: अपने बच्चों से इस विषय पर कैसे बात करें
बिना किसी शर्त के प्यार करना और साथ निभाना, ये सीखना बहुत ज़रूरी हैं
कुछ सालों पहले, मैंने फिल्ममेकर श्रीधर रंगायन के साथ एक इंटरव्यू किया था जहां उन्होंने एक ऐसी बात कही जिसने मुझे झिंझोड़ कर रख दिया। उनकी फिल्म ‘इवनिंग शैडोज़’ पर हमारी चर्चा के दौरान उन्होंने कहा, “जब हम अपने पेरेंट्स के सामने अपनी सेक्शुएलिटी का खुलासा करते हैं, हम तो अपने बंद दरवाज़े से बाहर निकल आते हैं, लेकिन अनजाने में ही सही, पर हम उन्हें उन दरवाज़ों के पीछे धकेल देते हैं। इस फिल्म में, जब एक युवा क्वीर अपने करीबी लोगों के सामने अपनी पहचान ज़ाहिर करता है, वह तो आज़ाद महसूस करता है, पर इसके बाद उसकी सबसे करीबी, उसकी मां के पास ऐसा कोई नहीं होता जिसके साथ वह अपने भावनाएं बांट सके।” बेशक, किसी भी व्यक्ति के लिए अपनी सेक्शुएलिटी को समझना और अपनाना बहुत कठिन है लेकिन साथ ही उसके करीबी लोगों पर इसका प्रभाव भी नकारा नहीं जा सकता, श्रीधर की कही इस बात से आप भी कहीं न कहीं सहमत होंगे। जब आपका बच्चा इस विषय पर खुलकर आपके सामने आता है – ना तो ये उसके लिए आसान होता है ना ही आपके लिए।
आज जिस माहौल में हम जी रहे हैं, वह बहुत आज़ाद ख्याल है, खासतौर पर यदि हम उस समय से तुलना करें जिसमें हमारे मां-बाप बढ़े हुए थे। कई दशकों से, लोग अपनी सेक्शुएलिटी को पर्दों के पीछे छुपाकर रखते चले आ रहे हैं, केवल इस डर से कि उन्हें ‘अस्वाभाविक’ समझा जाएगा।
ज़्यादातर पेरेंट्स समय के साथ अब ये समझने लगे हैं। सालों से चली आ रही अपनी पुरानी धारणाओं और परवरिश को भुला कर, वे अपने बच्चों के लिए उनके समर्थन में खड़ा होना सीख रहे हैं। फिर भी हर कोई सुशांत दिवगिकर जैसा खुशकिस्मत नहीं होता, जिसे अपने फ्रेंड्स और फैमिली का भरपूर प्यार, अपनापन और समर्थन मिल रहा है।
पूर्व मिस्टर गे इंडिया और एक प्रसिद्ध ड्रैग परफ़ॉर्मर, सुशांत ने 12 साल की उम्र से ही अपनी सेक्शुएलिटी पर सवाल उठाने शुरू कर दिए थे। कुछ सालों बाद, जब उनके भाई ने उनके पिता प्रदीप को बताया कि सुशांत गे पार्टीज़ अटेंड करते हैं, प्रदीप ने इस विषय पर सुशांत से खुलकर बात करने का फैसला लिया। “मैंने सही मौका ढूंढ़कर उससे यूं ही पूछा। उसने बेझिझक जवाब दिया, ‘हां डैड, मैं गे हूं।’ मैंने उसी समय उसे गले लगा लिया और कहा ‘आज से, मैं तुझे पहले से भी ज़्यादा सपोर्ट करूंगा,” प्रदीप बताते हैं कि ये घटना तब की है जब सेक्शन 377 के तहत समलैंगिक रिश्तों को आपराधिक माना जाता था। वे तब से एलजीबीटीक्यू कम्युनिटी के सहयोग में गर्व के साथ खड़े हैं, नियमित रूप से अपने बेटे के साथ प्राइड परेड और साथ ही उसकी रानी कोहीनूर की ड्रैग परफॉरमेंसेस भी अटेंड करते हैं।